-->

search ad

राजकीय स्नातकोत्तर महाविद्यालय सितारगंज में “उत्तराखंड में आपदाएं: प्राकृतिक या मानव निर्मित” विषय पर भाषण प्रतियोगिता का सफल आयोजन, छात्र-छात्राओं ने प्रस्तुत किए गंभीर व वैज्ञानिक दृष्टिकोण।

राजकीय स्नातकोत्तर महाविद्यालय सितारगंज में “उत्तराखंड में आपदाएं: प्राकृतिक या मानव निर्मित” विषय पर भाषण प्रतियोगिता का सफल आयोजन, छात्र-छात्राओं ने प्रस्तुत किए गंभीर व वैज्ञानिक दृष्टिकोण।

सितारगंज : (चरनसिंह सरारी) राजकीय स्नातकोत्तर महाविद्यालय सितारगंज में जंतु विज्ञान विभाग की विभागीय परिषद द्वारा “उत्तराखंड में आपदाएं: प्राकृतिक या मानव निर्मित” विषय पर भाषण प्रतियोगिता का आयोजन किया गया, जिसकी अध्यक्षता महाविद्यालय की प्राचार्य डॉ. रेनू रानी बंसल ने की। कार्यक्रम की शुरुआत दीप प्रज्वलन के साथ हुई। इस प्रतियोगिता में महाविद्यालय के विभिन्न संकायों के छात्र-छात्राओं ने उत्साहपूर्वक भाग लिया और उत्तराखंड में समय-समय पर आने वाली प्राकृतिक आपदाओं जैसे भूस्खलन, बादल फटना, बाढ़, वनाग्नि आदि के वैज्ञानिक और सामाजिक पहलुओं पर विचार रखते हुए मानवजनित कारणों पर भी विस्तृत चर्चा की। प्रतिभागियों ने वनों की अंधाधुंध कटाई, अनियंत्रित शहरीकरण, मृदा का अत्यधिक दोहन, अनियंत्रित पर्यटन और जलवायु परिवर्तन को इन आपदाओं के मुख्य कारणों के रूप में चिन्हित किया। भाषणों का प्रस्तुतिकरण पॉवरपॉइंट प्रेजेंटेशन के माध्यम से किया गया, जिससे विषय की गहराई और प्रस्तुति की गुणवत्ता में निखार आया।निर्णायक मंडल में डॉ. अभिमन्यु कुमार (समाजशास्त्र), डॉ. संजय कुमार टम्टा (राजनीति विज्ञान), डॉ. राजविंदर कौर (हिंदी), डॉ. शोभा पांडेय (वाणिज्य) और डॉ. सुधा पाल (भौतिक विज्ञान) शामिल रहे। जिन्होंने प्रतिभागियों के प्रदर्शन का मूल्यांकन करते हुए उन्हें उपयोगी सुझाव भी दिए। कार्यक्रम की संयोजन भूमिका जंतु विज्ञान विभाग प्रभारी डॉ. कमला उपाध्याय के मार्गदर्शन में बीएससी छठे सेमेस्टर की छात्रा रिया चंद और बिपाशा वर्मा ने बखूबी निभाई।भाषण प्रतियोगिता में बीएससी छठे सेमेस्टर की छात्रा रिया चंद ने प्रथम स्थान प्राप्त किया, बीएससी द्वितीय सेमेस्टर की सुहानी द्वितीय स्थान पर और बीए चतुर्थ सेमेस्टर की अंशिका ने तृतीय स्थान प्राप्त किया, जबकि बीए चतुर्थ सेमेस्टर के सुमित को सांत्वना पुरस्कार प्रदान किया गया। इस अवसर पर हिंदी विभागाध्यक्ष डॉ. विमला सिंह, डॉ. गरिमा, डॉ. सविता रानी, डॉ. दुर्गा तिवारी, डॉ. प्रज्ञा सिन्हा, डॉ. सोहनी, डॉ. अजय लटवाल, डॉ. प्रकाश भट्ट सहित अन्य प्राध्यापकगण उपस्थित रहे। प्राचार्य डॉ. रेनू रानी बंसल ने सभी प्रतिभागियों को उनकी प्रस्तुति के लिए बधाई दी और भविष्य में इसी प्रकार के शैक्षिक आयोजनों में सक्रिय भागीदारी की प्रेरणा दी।

विज्ञापन

विज्ञापन

विज्ञापन

विज्ञापन